पडरौना,कुशीनगर। सूबे की योगी सरकार शहरी क्षेत्र मे हुए विकास की तर्ज पर ग्राम सभाओं को विकसित कर गांव के बाशिंदों को हर बुनियादी सुविधाओं का लाभ पहुंचाने के लिए न सिर्फ भागीरथ प्रयास कर रही है.बल्कि इस सपने को साकार करने के लिए करोडो रुपये पानी की तरह बहा रही है। किन्तु विडम्बना यह है कि गांव के ग्राम प्रधान ने विभागीय अधिकारियों की मिलीभगत से यहां कागजों मे विकास की गंगा बहाकर सरकारी धन से अपना भविष्य संवारने मे कोई कसर नहीं छोड़ी है।
इन्हे न तो किसी का डर है न कोई खौफ। यही वजह है कि कुशीनगर जनपद के पडरौना व्लाक के गांव सरया निवासी विजय कुमार जायसवाल ने गांव के ग्राम प्रधान व सेक्रेटरी के भ्रष्टाचार पर बडी निर्लजता से पर्दा डालते हुए अपने शिकायती पत्र में जिक्र किया है सरया गांव में मे बिना कार्य कराये ही लाखों रुपये निकाल लिए गये है। अब ऐसे से सवाल उठना लाजमी है कि योगी सरकार की ग्राम स्वराज की परिकल्पना साकार होगी भी तो कैसे ?
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कुशीनगर जनपद के पडरौना ब्लाक के सरया ग्राम प्रधान द्वारा यहां खड़ंजा,नाली,शौचालय, इंटरलॉकिंग सड़क निर्माण सहित कई विकास कार्य धरातल पर नही बल्कि सिर्फ कागज में ही दिखा कर भुगतान कर लिया गया । जिसमे बिना शौचालय कार्य कराये यहां के ग्राम प्रधान व अधिकारी के मिलीभगत से लाखों रुपये निकाल लिए गए है.इस मामले में 9 बार शिकायत करने के बाद भी डीपीआरो.एडीओ पंचायत द्वारा कार्रवाई के नाम इस गांव में पूछने तक नही गए है।
🔴 क्या है मामला
गौरतलब है कि जिले के पडरौना विकास खण्ड क्षेत्र के सरया गांव मे कराये गये निमार्ण कार्य में नाली का एमबी कराकर पुरा भुगतान करा लिया गया है.जबकि धरातल पर नाली बनी ही नहीं है.इतना ही नहीं सेक्रेटरी की साठगांठ से प्रधान द्वारा बीना नाली का निर्माण कराए ही पुरा पैसा निकाल लिया गया है। नतीजतन सरकारी मुलाजिम सेक्रेटरी और जनप्रतिनिधि ग्राम प्रधान के आपसी मिलीभगत से सरया गांव में शौचालय,इंटरलॉकिंग सड़क,नाली निर्माण कार्य बिना कार्य कराए ही कई लाखों रुपए का भुगतान किया गया है गांव में बिना कार्य कराए ही भुगतान करने के संबंध मे गांव के रहने वाले विजय कुमार द्वारा जिला अधिकारी से लेकर न्यायालय तक किए गए शिकायत के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं की गई है।
कहना न होगा कि ग्राम प्रधानों का कार्यकाल खत्म होने के बाद सरया गांव मे कराये गये बीना कार्य पर किए गये पूर्ण भुगतान का मामला तो एक बानगी है। अगर जांच हो जाये तो इस गांव में सेक्रेटरी और प्रधान के भ्रष्टाचार के पोल खुलते देर नही लगेगी। क्योंकि सरया गांव निवासी विजय कुमार खुद इस गांव में बिना कार्य कराये ही लाखों रुपये का भुगतान होने का दावा कर रहे है।