Water Crisis in India: जल जीवन है। जल के बिना व्यक्ति स्वयं का अस्तित्व महसूस नहीं करता। यदि व्यक्ति को प्यास लग जाए तो एक पल में ही उसकी व्याकुलता बढ़ने लगती है और पानी न मिलने पर उसे महसूस होता है इसी पल उसके प्राण निकल जाएंगे। पानी के बिना जीवन की कल्पना असम्भव है। कई लोग पानी की कीमत नहीं समझते वह पानी को बेपरवाही से बहाते हैं। वह पानी की कीमत नहीं समझते। लेकिन आज हम आपको भारत के उस शहर के विषय में बताने जा रहे हैं। जो जल की कमी से जूझ रहा है। पानी की कमी ने यहां ताहमाम मचा रखा है। दशा यह है की लोग पीने के पानी को भी पर्याप्त मात्रा में प्राप्त नहीं कर पा रहे हैं।
जानें कौन सा शहर झले रहा पानी की मार:
भारत का शहर बेंगलुरु वर्तमान में पानी की किल्लत से जूझ रहा है। बेंगलुरु में हाथ धोने से लेकर पीने का पानी तक कम पड़ गया है। दशा इतनी दयनीय है की लोगों को पानी टैंकर से मुहैया करवाया जा रहा है। पानी की कमी दिन प्रतिदिन बढ़ती जा रही है जिसके चलते आज पानी की कमी टैंकर भी पूरी करने में असमर्थ हैं। सरकार ने पानी की पूर्ति के संदर्भ में कई कड़े नियम लागू किए हैं। कार वॉश करते, गार्डनिंग करते, कंस्ट्रक्शन करते, रोड का कंस्ट्रक्शन और मेंटेनेंस करते या वाटर फ़ाउंटेन समय यदि कोई पानी का उपयोग करते हैं तो सरकार के नियम के मुताबिक़ व्यक्ति को पांच हजार रूपये का जुर्माना भरना पड़ेगा।
क्यों हुई पानी की कमी:
बेंगलुरु एक इंडस्ट्रियल शहर है। बेंगलुरु में बडी-बड़ी कंपनियों ने अपने पैर जमा लिए। पेड़ की संख्या दिन प्रतिदिन कम होती जा रही है। सूखा पड़ना बेंगलुरु में आम बात है मानों। जानकारों का कहना है सूखा पड़ने के कारण बेंगलुरु में पानी की कमी हुई है। पेड़ों की संख्या कम होने से भूमिगत जल सूख गया गया है। पानी की किल्लत कम हो ऐसा अभी कोई उपाय नहीं दिख रहा है। बेंगलुरु में पानी की कमी मुख्यमंत्री आवास तक दिख रही है। भारत में बैंगलोर के अलावा मुंबई, कोलकाता, जयपुर, इंदौर, अमृतसर, पुणे, श्रीनगर समेत करीब 30 शहर शामिल हैं।