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इस बार केंद्र में कमल खिलाना आसान नहीं

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इस बार केंद्र में कमल खिलाना आसान नहीं

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इस बार केंद्र में कमल खिलाना आसान नहीं
इस बार केंद्र में कमल खिलाना आसान नहीं

देश : साल २०२४ में होने वाले लोकसभा चुनाव की तैयारी उफान पर है। बीजेपी व कांग्रेस जमीनी स्तर पर स्वयं को मजबूत करने की कवायद में जुटे हुए हैं। बीजेपी लगातार जनता  सम्पर्क साध रही है बड़े नेता जगह-जगह सभाएं कर रहे हैं। वहीं अब लोकसभा चुनाव के परिपेक्ष्य में एक सर्वे सामने आया है जिसने सभी को चौंका दिया है। सर्वे में खुलासा हुआ है कि इस बार लोकसभा चुनाव अपने निर्धारित समय से पहले होगा। चुनाव के दौरान जनता का मूड खूब बदलेगा। वही अगर हम यह कहें की पुनः केंद्र में बीजेपी का शंखनाद होगा तो इस बार यह आसान नहीं है। क्योंकि जमीनी स्तर पर जनता का रुझान कांग्रेस की ओर दिखाई दे रहा है। 

सर्वें में दावा किया गया है कि जनता बीजेपी नेताओं और कार्यकर्ताओं के रुख से असंतुष्ट है। जनता का कहना है कि मोदी की जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ जरूरतमंदों का न मिलकर उन लोगों को मिल रहा है जो बीजेपी नेताओं के परिचित हैं। हालाकि बीजेपी के बड़े नेता जनता से प्रत्यक्ष जुड़ने का प्रयास कर रहे हैं लेकिन जनता के मस्तिष्क पर राहुल गाँधी की भारत जोड़ो यात्रा का प्रभाव अधिक दिख रहा है। जनता का यह भी कहना है कि राहुल इंदिरा की तरह जन की बात समझते हैं एक बार उन्हें मौका मिलना चाहिए। 

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विशेषज्ञ की राय :

लोकसभा चुनाव के परिपेक्ष्य में जानकारों का कहना है कि इस बार केंद्र में कमल खिलाना बीजेपी के लिए आसान नहीं है। क्योंकि राहुल ने जनता से जुड़ने और कांग्रेस को स्थापित करने के लिए कड़ी मेहनत की है। यूपी और बिहार में भले अभी कांग्रेस मजबूती से नहीं खड़ी है लेकिन दक्षिण के राज्यों में जनता कांग्रेस के पक्ष में हैं। जनता के सम्मुख बीजेपी की छवि एक ऐसी पार्टी के रूप में विकसित हुई है जो सिर्फ हिन्दुओं का हित चाहती है। 

यदि हम बीते कुछ दिनों के राजनीतिक रुझानों पर ध्यान केंद्रित करें तो मुस्लिम समाज कांग्रेस के समर्थन में आया है। वहीं ओबीसी व अन्य पिछड़े वर्ग की रूचि भी कांग्रेस में खूब दिख रही है। अब ऐसे में सिर्फ स्वर्ण पर विश्वास जता कर बीजेपी लोकसभा चुनाव में अपनी जीत का बिगुल फूंक दे यह संभव नहीं है।