चंडीगढ़। पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने कहा कि राज्य सरकार फिर से विधानसभा में कृषि कानूनों को नकारने के लिए संशोधन विधेयक लाएगी, क्योंकि राज्यपाल राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद को पहले के विधेयक भेजने में विफल रहे थे। अमरिंदर सिंह ने कहा, हम फिर से विधेयक लेकर आएंगे, क्योंकि संविधान के अनुसार अगर विधेयक दो बार विधानसभा से पास हो जाता है तो राज्यपाल को इसे राष्ट्रपति के पास भेजना ही होगा।
उन्होंने कहा कि राज्य को संविधान के अनुच्छेद 254 (2) के तहत कानूनों में संशोधन करने का अधिकार है।
कैप्टन अमरिंदर ने बताया कि राष्ट्रपति ने पहले यह कहकर पंजाब के नेताओं से मिलने से इनकार कर दिया था कि उनके पास विधेयक नहीं पहुंचा है। ऐसे में हम फिर से राष्ट्रपति से मिलने जाएंगे।
अमरिंदर सिंह ने कहा कि वह केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के साथ कृषि कानूनों और किसानों के विरोध के मुद्दे पर लगातार संपर्क में हैं।
संकट के जल्द समाधान की आवश्यकता को रेखांकित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि पाकिस्तान की ओर से व्याप्त खतरे पर भी टिप्पणी की।
यह कहते हुए कि लोकतंत्र में लोगों की आवाज सबसे मजबूत है, मुख्यमंत्री ने जोर देकर कहा कि हमें पंजाब की एकजुट आवाज उठानी ही होगी।
उन्होंने कहा कि अगर यहां शांति नहीं है, तो कोई भी उद्योग राज्य में नहीं आएगा।