मेरठ में स्पा सेंटर में देह व्यापार का भंडाफोड़: चौकी इंचार्ज निलंबित
मेरठ में एक ब्यूटी पार्लर और स्पा सेंटर में देह व्यापार के आरोपों ने तूल पकड़ लिया है। इस मामले में मेडिकल थाना क्षेत्र के जेल चुंगी चौकी इंचार्ज को निलंबित कर दिया गया है। एक पूर्व महिला कर्मचारी ने आरोप लगाया है कि स्पा सेंटर में देह व्यापार हो रहा था और चौकी इंचार्ज इसमें शामिल था। उसने नौकरी छोड़ने के बाद से ही धमकियों का सामना किया।
पूर्व कर्मचारी ने लगाए गंभीर आरोप
एक युवती ने एसएसपी कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई कि वह मंगल पांडे नगर स्थित स्पा सेंटर में काम करती थी। उसने आरोप लगाया कि स्पा सेंटर में महिलाओं और पुरुषों का आना-जाना लगा रहता था और देह व्यापार चल रहा था। नौकरी छोड़ने के बाद उसे धमकी दी गई और झूठा केस दर्ज कराने की कोशिश की गई। उसने आरोप लगाया कि स्पा सेंटर संचालिका और चौकी इंचार्ज स्नेह प्रकाश आजाद ने मिलकर उसे प्रताड़ित किया।
चौकी इंचार्ज पर धमकी देने के आरोप
युवती ने आरोप लगाया कि चौकी इंचार्ज ने उसे 10-15 दिन पहले बुलाया और धमकी दी कि अगर उसने स्पा संचालिका के खिलाफ बोलना जारी रखा तो उसे फंसा दिया जाएगा। यह सब मेडिकल थाना क्षेत्र के जेल चुंगी चौकी इंचार्ज की मिलीभगत से हो रहा था। इस घटनाक्रम के कारण एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ जिसमे चौकी इंचार्ज को युवती को धमकाते हुए दिखाया गया है।
पुलिस की छापेमारी और कार्रवाई
पुलिस ने कुछ दिन पहले स्पा सेंटर पर छापेमारी की और संदिग्ध गतिविधियों और आपत्तिजनक सामग्री बरामद की। इसके बाद स्पा सेंटर को बंद कर दिया गया। आरोप है कि स्पा संचालिका ने इसी के बाद युवती पर झूठा केस दर्ज करवाया। फिलहाल पुलिस इस मामले की जांच कर रही है।
चौकी इंचार्ज निलंबित, जांच जारी
इस पूरे मामले में चौकी इंचार्ज स्नेह प्रकाश आजाद को निलंबित कर दिया गया है। एसपी सिटी आयुष विक्रम ने बताया कि वायरल वीडियो के बाद कार्रवाई की गई है और जांच जारी है। पुलिस आगे की जांच में जुटी हुई है और मामले के सभी पहलुओं पर गौर कर रही है।
Take Away Points
- मेरठ में एक स्पा सेंटर में देह व्यापार का भंडाफोड़ हुआ है।
- एक पूर्व महिला कर्मचारी ने चौकी इंचार्ज पर मिलीभगत का आरोप लगाया है।
- चौकी इंचार्ज को निलंबित कर दिया गया है और पुलिस मामले की जांच कर रही है।
- यह घटना महिला सुरक्षा और कानून व्यवस्था पर सवाल उठाती है।
- पुलिस को ऐसे मामलों में त्वरित कार्रवाई करने की आवश्यकता है ताकि दोषियों को सजा मिले और महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित हो।