मुंबई।
मुंबई से तकरीबन 40 किलोमीटर दूर ठाणे के मीरा भायंदर इलाके की आकाशदीप सोसाइटी का फ्लैट नंबर-704 अचानक सुर्खियों में आ गया। यहां रहने वाले एक 56 साल के मनोज साने ने पहले अपनी 32 साल की पत्नी सरस्वती वैद्य को मारा। फिर लाश को 100 से ज्यादा छोटे-छोटे टुकड़ों में काटा। इन टुकड़ों को कुकर में उबाला, गैस पर भूना और फिर उन 3 कुत्तों को खिलाया, जिन्हें उसकी पत्नी बहुत प्यार करती थी।मनोज के फ्लैट से एक इलेक्ट्रिक कटर, कुकर, दो बकेट और एक टब में रखे सरस्वती के बॉडी पार्ट बरामद हुए हैं। आकाशदीप सोसाइटी में तो चारों ओर सन्नाटा पसरा था।
सोसाइटी में रहने वाले प्रताप ने बताया की पिछले 4-5 साल से मनोज साने और सरस्वती यहां रह रहे थे। वे ज्यादा लोगों से बातचीत नहीं करते थे। सिर्फ मॉर्निंग वॉक के दौरान कभी-कभी हमने इन्हें कुत्तों को बिस्कुट खिलाते हुए देखा था।’प्रताप ने बताया, ‘फ्लैट नंबर-701, 703 में रहने वाले लोगों को 4 तारीख से काफी बदबू आ रही थी। 7 जून तक उनका अपने घरों में रहना मुश्किल हो गया था। 7वें फ्लोर पर 4 फ्लैट हैं। सभी को लग रहा था कोई जानवर मर गया है। जब काफी कोशिश करने पर भी कुछ पता नहीं चला तो फ्लैट के लोगों से पूछताछ की गई। फ्लैट नंबर 704 में रहने वाले मनोज के घर से बदबू आने का शक था। 701 में रहने वाले राहुल श्रीवास्तव ने उन्हें जब रोककर पूछा तो वो लेट होने का बहाना बनाकर चले गए।’ प्रताप ने बताया कि मनोज और सरस्वती सोसाइटी में पिछले 5 सालों से रहते थे।
प्रताप के मुताबिक राहुल को ही सबसे पहले शक हुआ था। वे आगे बताते हैं, ‘राहुल ने 7 जून की शाम मुझे फोन कर बदबू के और बढ़ जाने की शिकायत की। मैं उनके फ्लोर पर पहुंचा और हर दरवाजे को चेक करना शुरू किया। सबसे ज्यादा बदबू फ्लैट नंबर-704 के दरवाजे के पास से ही आ रही थी। हमने पुलिस को बुलाने का फैसला किया। कुछ ही देर में मीरा भायंदर पुलिस स्टेशन से एक टीम यहां पहुंची और उन्होंने बिना दरवाजा खोले ही बता दिया था कि ये शव के सड़ने की बदबू है। दरवाजा तोड़ा गया और फिर जो देखने को मिला वह वाकई डराने वाला था।’सिर-पैर को छोटे-छोटे टुकड़ों में काटकर दो बाल्टी में रखा था।प्रताप से मुलाकात के बाद हम गीता आकाशदीप सोसाइटी के 7वें फ्लोर पर पहुंचे। यहां 701 नंबर फ्लैट में रहने वाले राहुल श्रीवास्तव से हमारी मुलाकात हुई। उन्होंने बताया, ‘घर का दरवाजा जैसे ही खुला बदबू बहुत तेज हो गई। ड्राइंग रूम में मैंने एक इलेक्ट्रिक ग्राइंडर देखा। अंदर जाने पर पेड़ को काटने वाला कटर देखा। यहीं बेड पर कुछ काले रंग के प्लास्टिक बैग पड़े हुए थे।
बदबू इतनी तेज थी कि अंदर खड़े रहना मुश्किल था। जब किचन खोला गया तो हमें भरोसा है नहीं हुआ। वहां बॉडी के पार्ट्स काट कर रखे गए थे। सिर, पैर के हिस्सों को छोटे-छोटे टुकड़ों में काटकर दो बाल्टी और एक टब में रखा गया था।’आरोपी मनोज साने ने पुलिस को बताया कि पार्टनर सरस्वती वैद्य ने सुसाइड किया था। ऐसे में वह पकड़ा न जाए, इस डर से उसने शव के टुकड़े कर दिए और कुकर में उबालकर उन्हें कुत्तों को खिला दिया।