गोरखपुर, कुशीनगर इंटरनेशनल एयरपोर्ट से उड़ान के लिए भारत में म्यांमार के राजदूत ऊ मोचो आंग ने अपने देश के नागरिकों को आडियो संदेश भेजा है। दिल्ली रवाना होने के पूर्व उन्होंने संदेश रिकार्ड कराया। राजदूत की मंशा म्यांमार-कुशीनगर उड़ान शुरू करने व संदेश के माध्यम से अपने देश के नागरिकों को बताने की है। यह संदेश दक्षिण-पूर्व एशियाई देशों (आसियान) के राजनयिकों को भी गया है।
आधा दर्जन से अधिक देशों से हवाई सेवा शुरू होने की उम्मीद
राजदूत ने संदेश में बौद्धस्थली के नवनिर्मित एयरपोर्ट के संबंध में अवगत कराते हुए उड़ान शुरू करने की पहल करने की अपील की है। प्रशासन इस आडियो संदेश को सोशल मीडिया एप यू-ट्यूब व पर्यटन से जुड़े वेबसाइट पर अपलोड करेगा। राजदूत की पहल रंग लाई तो भविष्य में न केवल म्यांमार बल्कि आसियान के अन्य सदस्य देश थाइलैंड, इंडोनेशिया, मलेशिया, वियतनाम, फिलिपींस, ब्रुनेई, कंबोडिया और लाओस, सिंगापुर की फ्लाइट भी कुशीनगर उतरनी शुरू हो जाएगी।
हर साल आते हैं हजारों पर्यटक
थाईलैंड, कंबोडिया, इंडोनेशिया, वियतनाम, म्यांमार से हजारों की संख्या में पर्यटक हर साल कुशीनगर आते हैं। इन सभी देशों के यहां पर बौद्ध मोनास्ट्री भी है। इसमें काफी संख्या में इन देशों के भिक्षु भी रहते हैं। ऐसे में म्यांमार की इस पहल से आसियान देशों से उड़ान यदि शुरू हो गई तो न केवल पर्यटकों का आवागमन बढ़ेगा बल्कि रोजगार में भी वृद्धि होगी। आसियान संगठन भारत का चौथा सबसे बडा व्यापारिक भागीदार है। ऐसे में भारत सरकार के स्तर से उड़ान के लिए पहल होनी चाहिए। राजदूत दिल्ली पहुंचकर आसियान व भारतीय राजनयिकों से बात करेंगे।
भारत में राजदूत होना सौभाग्य की बात
म्यांमार के राजदूत ऊ मोचो आंग भारत में कार्य करने को अपने जीवन की सबसे बड़ी उपलब्धि मानते हैं। कहा कि इस देश से ही बौद्ध धर्म विश्व के कई देशों में पहुंचा है। विश्वभर के बौद्ध श्रद्धालु बौद्ध तीर्थ स्थलों का दर्शन व पूजन-वंदन करने जीवन में एक बार भारत आना चाहते हैं। राजदूत ने बुधवार को दिल्ली रवाना होने के पूर्व यह विचार व्यक्त किए। उन्होंने दोनों देशों की जनता की खुशहाली के लिए भगवान बुद्ध से प्रार्थना की। कहा कि मुझे यहां आकर शांति व सुकून मिलता है। विदाई से पूर्व उन्हें गार्ड आफ आनर दिया गया। राजदूत कुशीनगर भिक्षु संघ के अध्यक्ष एबी ज्ञानेश्वर के 85 वें जन्मदिन समारोह में शामिल होने अपनी पत्नी नीलार आंग के साथ आए थे। बताया कि वे भारत में तीन वर्षों से राजदूत हैं। इसके पूर्व वे अमेरिका, स्विट्जरलैंड, ब्रूनेई और मलेशिया में राजदूत रह चुके हैं।
निर्माण कार्य का मानक जांचने एयरपोर्ट पहुंची डीजीसीए टीम
कुशीनगर इंटरनेशनल एयरपोर्ट के निर्माण कार्य का मानक जांचने डायरेक्टर जनरल सिविल एविएशन (डीजीसीए) की दो सदस्यीय टीम बुधवार को कुशीनगर पहुंची। असिस्टेंट डायरेक्टर डीके मंडल और राजगुरु ठाकुर की टीम दो दिन यहां रह कर अंतरराष्ट्रीय मानकों पर एयरपोर्ट पर हुए कार्यों की जांच करेगी। जांच में खरा उतरने के बाद ही डीजीसीए एयरपोर्ट को उड़ान के लिए लाइसेंस जारी करेगा। एयरपोर्ट अथारिटी आफ इंडिया (एएआई) ने डीजीसीए में उड़ान के लिए लाइसेंस का आवेदन किया है। एक माह से टीम के आने की प्रतीक्षा की जा रही थी। टीम के सदस्य रन-वे, एटीसी, टर्मिनल बिल्डिंग, अग्निशमन, इलेक्ट्रिकल वर्क, एप्रन, सुरक्षा प्रबंधों आदि के कार्यों की जांच करेंगे।
लाइसेंस मिलते ही शुरू होगी उड़ान
टीम की हरी झंडी के बाद ही एएआई को उड़ान शुरू करने का लाइसेंस मिलेगा। लाइसेंस की प्रक्रिया के बाद ही एएआई रुट निर्धारित कर एयरलाइन कंपनियों को उड़ान के लिए आमंत्रित करेगी। उड़ान शुरू होने में लाइसेंस प्राप्त न होना बड़ी बाधा बन रहा है। जून में केंद्रीय कैबिनेट के एप्रूवल के बाद राज्य व केंद्र सरकार के विभागों ने युद्ध स्तर पर कार्य किया। केंद्र सरकार ने उद्घाटन उड़ान के लिए श्रीलंका सरकार को आमंत्रित किया है, लेकिन लाइसेंस की प्रक्रिया पूरी न होने से मामला आगे नहीं बढ़ पा रहा है। अब उम्मीद जताई जा रही है कि लाइसेंस मिल जाने से घरेलू व अंतरराष्ट्रीय उड़ान शुरू हो सकेगी। एयरपोर्ट डायरेक्टर संजय नारायण ने बताया कि लाइसेंस लेना अनिवार्य प्रक्रिया है। इसके लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। टीम के रिपोर्ट के आधार पर उड़ान की दिशा तय होगी।
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