सिद्धार्थनगर . संडे हो या मंडे, रोज खाओ अण्डे, यह एडवर्टिसमेंट हम सभी ने टीवी पर रोज देखा होगा। लेकिन बाजार में प्लास्टिक के अंडे बिक रहे हों तो लोग क्या खाएं। आज हम आपको एक ऐसी खबर दिखाने जा रहे हैं, जो सीधे आपकी सेहत से जुडी है। अण्डे रोज खाइए, लेकिन जरा संभलकर। नहीं तो आप को अस्पताल के चक्कर लगाने पड़ सकते है। इतना ही नहीं जरा सी लापरवाही से आपकी जान भी सकती है।
जानिए पूरा मामला
दरअसल, जिला मुख्यालय के पास स्थित गौरा बाजार में खुले आम चायनीज़ अंडे बिक रहे हैं। हलांकि चायनीज अंडों के वीडियो सोशल मीडिया में खूब देखने को मिलते है। इससे पहले चायनीज़ प्लास्टिक के चावल के वीडियो की भी खूब चर्चा रहती थी। शायद इसी वजह से लोग अब इन चीजों को खाने से पहले पूरी तसल्ली कर लेते हैं।
ऐसे खुला चाइनीज अंडों का राज
अब आपको बताते है कि इस अंडे का राज कैसे खुल गया। गौरा बाजार के रहने वाले हकीउल्लाह ने बाजार से एक कैरट अण्डे ख़रीदे और घर में उसकी आमलेट बनाने लगे। बनाने के लिए जब उन्होंने अण्डे को फोड़ा तो उन्हें अण्डे फोड़ने के बाद निकलने वाली गंध कुछ अजीब सी लगी। चूकि सोशल मीडिया में नकली अंडों के बारे वह सुन चुके थे। इसलिए उन्होंने इसकी तहकीकात जानने के लिए इसे फिर से फोड़कर देखा तो उनको इसकी असलियत सामने आ गई। अण्डे के अंदर की जर्दी पानी की तरह बह गई साथ ही अंडे को कवर करने वाली ऊपरी सतह भी छोटे-छोटे दानों जैसी टूटकर दिखने लगी।
दुकानदार ने झाड़ा पल्ला
इसके बाद वह तुंरत दुकानदार के पास पहुंचा। उसने प्लास्टिक के अण्डे बेचने की शिकायत की तो दूकानदार ने होलसेलर का नाम बताकर अपना पल्ला झाड़ लिया। हकीकत जानने के लिए जब होलसेलर करीम उल्लाह के पास पहुंचे तो उसने भी इसे मानने से इंकार कर दिया। साथ ही उसने हरियाणा की मुख्य सप्लायर का नाम बताकर पल्ला झाड़ा।
फूड इंस्पेक्टर ने दिए जांच के आदेश
ग्रामीण क्षेत्रों में प्लास्टिक के अंडो की बिकने की खबर आग की तरह फैली तो स्थानीय युवाओं ने इसे सेहत के साथ खुला खिलवाड़ बताया। साथ ही सवाल खड़े किए की आखिर अभिहित विभाग क्या कर रहा है। जब मीडियाकर्मी फूड इंस्पेक्टर के पास पहुंचे और इस मामले पर सवाल किए तो उन्होंने तत्काल एक जांच टीम गठित कर उसे जांच के लिए रवाना कर दिया।
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