आध्यात्मिक: हिन्दू धर्म में पूजा – पाठ का विशेष महत्व है कहते हैं जिस घर के लोग सुबह उठकर विधि-विधान से पूजा करते हैं, मंत्रो का उच्चारण करते हैं उनके घर में सुख समृद्धि का वास होता है और नकारात्मक ऊर्जा घर से बाहर निकल जाती है। लेकिन कई बार हम देखते हैं कुछ लोग अथक प्रयास करते हैं, अपने जीवन में सफल होने के लिए दिन-रात मेहनत में लगे रहते हैं लेकिन सफलता उनके हाथ नहीं लगती है। वहीं आज हम आपको कुछ ऐसे मंत्रो के विषय में बताने जा रहे हैं जिनका नित्य जाप करने से आपके जीवन का लक्ष्य आपको आसानी से प्राप्त होता है और ईश्वर की कृपा सदैव आपपर बनी रहती है।
जानें सफलता के मंत्र :
1. कराग्रे वसति लक्ष्मीः कर मध्ये सरस्वती।
करमूले तू ब्राह्म, प्रभाते कर दर्शनम्।।
2.त्वमेव माता च पिता त्वमेव,त्वमेव बन्धुश्च सखा त्वमेव।
त्वमेव विद्या च द्रविणं त्वमेव,त्वमेव सर्वम् मम देवदेवं।।
3.ब्रह्मा मुरारिस्त्रिपुरान्तकारी,भानुः शशी भूमिसुतो बुधश्च ।
गुरुश्च शुक्रः शनिराहुकेतवः,कुर्वन्तु सर्वे मम सुप्रभातम् ॥
4.आदिदेव नमस्तुभ्यं प्रसीद मम भास्कर
दिवाकर नमस्तुभ्यं प्रभाकर नमोऽस्तुते ॥
5.समुद्रवसने देवि पर्वतस्तनमण्डले
विष्णुपत्नि नमस्तुभ्यं पादस्पर्शं क्षमस्वमे ॥
6. ॐ भूर्भुवः स्वः तत्सवितुर्वरेण्यं
भर्गो देवस्यः धीमहि धियो यो नः प्रचोदयात्॥
7. ॐ हौं जूं सः ॐ भूर्भुवः स्वः ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्
उर्वारुकमिव बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात् ॐ स्वः भुवः भूः ॐ सः जूं हौं ॐ !!
8. मनोजवं मारुततुल्यवेगमं जितेन्द्रियं बुद्धिमतां वरिष्ठम्।
वातात्मजं वानरयूथमुख्यं श्रीरामदूतं शरणं प्रपद्ये।।
9. शान्ताकारं भुजगशयनं पद्मनाभं सुरेशं
विश्वाधारं गगनसदृशं मेघवर्ण शुभाङ्गम् ।
10. लक्ष्मीकान्तं कमलनयनं योगिभिर्ध्यानगम्यम्
वन्दे विष्णुं भवभयहरं सर्वलोकैकनाथम् ॥
11. शुक्लाम्बरधरं विष्णुं शशिवर्णं चतुर्भुजम् ।
प्रसन्नवदनं ध्यायेत् सर्वविघ्नोपशान्तये ॥