Home उत्तर प्रदेश उपचुनाव: बीजेपी कभी भी कर सकती है घोषित रामपुर में अपने कैंडिडेट

उपचुनाव: बीजेपी कभी भी कर सकती है घोषित रामपुर में अपने कैंडिडेट

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यूपी की 11 विधानसभा सीटों पर होने वाले उपचुनाव में वेस्ट यूपी की तीनों रामपुर, अगलास और गंगोह सीटों पर सियासी दलों की खास नजर है। इनमें सबसे हॉट सीट रामपुर को माना जा रहा है। बीजेपी के लिए यहां एसपी सांसद आजम खान के सियासी किले को तोड़ने की चुनौती के साथ गंगोह और इगलास पर कब्जा बरकार रखने का दबाव रहेगा।

2017 में समाजवादी पार्टी से सत्ता छीनकर यूपी में सीएम बने योगी आदित्यनाथ की अगुवाई में 2019 के लोकसभा चुनाव में शानदार जीत दर्ज की लेकिन मुरादाबाद मंडल में कमल मुरझा गया। वहां की एक भी लोकसभा सीट बीजेपी नहीं जीत पाई। विधायकों के सांसद चुने जाने से खाली हुई सीटों पर उपचुनाव के ऐलान के साथ नामांकन शुरू हो गई है। रामपुर के नौ बार विधायक रहने वाले सांसद आजम खान का किला कहा जाता है। लोकसभा चुनाव में भी आजम ने बीजेपी को रामपुर से हरा दिया।

सूत्रों के मुताबिक रामपुर विधानसभा सीट मेहनत के बाद भी मुस्लिम बहुल होना बीजेपी के लिए परेशानी साबित हो सकती है, लेकिन जिस तरह मोदी के जन्मदिन पर मुस्लिम महिलाओं ने प्रोग्राम में हिस्सा लिया उससे बीजेपी उत्साहित हैं। कांग्रेस, एसपी, बीएसपी ने रामपुर में अपने कैंडिडेट घोषित कर दिए। बीजेपी कभी भी घोषित कर देगी। बीजेपी ने ‘मिशन फतह रामपुर’ के लिए अपने तेजतर्रार मंत्री बृजेश पाठक को प्रभारी बनाया है। संगठन के तौर पर सियासत का माहिर डॉक्टर चंद्रमोहन को जिम्मा दे रखा है। डॉक्टर चंद्रमोहन का कहना है कि इस बार रामपुर में कमल खिलेगा। जनता आजम के जुल्मों से परेशान है। बदलाव चाहती हैं। आजम के गरीबों को सताने के कारनामे सामने आ चुके हैं।

इस बीच रामपुर से आजम के बेटे अदीब खान और पार्टी अध्यक्ष अलिलेश यादव की पत्नी डिंपल यादव का नाम बतौर कैंडिडेट चर्चा में हैं। एसपी के प्रदेश सचिव दिनेश गुर्जर का कहना है कि रामपुर से समाजवादी पार्टी जीतेगी। बीजेपी की आजम खान के खिलाफ की जा रही रंजिशन कार्रवाई का जनता जवाब देगी।

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