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इस स्वतंत्रता दिवस पर 21 तोपों की सलामी होगी बेहद खास

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लाल किले पर स्वतंत्रता दिवस समारोह के दौरान औपचारिक 21 तोपों की सलामी के लिए पहली बार घरेलू होवित्जर तोप का इस्तेमाल होने जा रहा है। यह जानकारी रक्षा सचिव अजय कुमार ने बुधवार साझा की।

रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) द्वारा सरकार की ‘मेक इन इंडिया’ पहल के तहत उन्नत टोड आर्टिलरी गन सिस्टम (ATAGS) भी विकसित किया गया है। उन्होंने बताया कि एटीएजीएस औपचारिक रूप से अब तक इस्तेमाल की जा रही ब्रिटिश तोपों के साथ 21 तोपों की सलामी भी देगा। 

रक्षा मंत्रालय ने जानकारी दी है कि बंदूक का उपयोग करने की पहल भारत की स्वदेशी रूप से हथियार और गोला-बारूद विकसित करने की बढ़ती क्षमता को दर्शने में फायदेमंद रहेगी।

इस तोप को विशेष रूप से इस दिन के लिए अनुकूलित किया गया है, समारोह के लिए कुछ तकनीकी विशिष्टताओं में भी बदलाव किया गया है। मंत्रालय की ओर से यह भी कहा गया है कि डीआरडीओ के आयुध अनुसंधान एवं विकास प्रतिष्ठान पुणे की एक टीम ने वैज्ञानिकों और तोपखाने के अधिकारियों के नेतृत्व में स्वतंत्रता दिवस समारोह के लिए तोप का उपयोग संभव बनाने के लिए परियोजना में काफी काम किया गया है। 

एटीएजीएस परियोजना 2013 में डीआरडीओ द्वारा भारतीय सेना में पुरानी तोपों को आधुनिक 155एमएम आर्टिलरी गन से बदलने का काम शुरू हुआ था। यह विशेष गन प्रणाली भारतीय सेना के तकनीकी अग्नि नियंत्रण, अग्नि योजना, तैनाती प्रबंधन, परिचालन रसद प्रबंधन के लिए शक्ति नामक आर्टिलरी कॉम्बैट कमांड और कंट्रोल सिस्टम जैसे सी4ई (C4I) सिस्टम से लैस है।

मंत्रालय से मिली जानकारी के अनुसार आपको बता दें कि कुल 26 अधिकारी और पर्यवेक्षक और 14 देशों- अमेरिका, यूके, अर्जेंटीना, ब्राजील, फिजी, इंडोनेशिया, किर्गिस्तान, मालदीव, मॉरीशस, मोजाम्बिक, नाइजीरिया, सेशेल्स, यूएई और उज्बेकिस्तान के पूरे 127 कैडेट स्वतंत्रता दिवस समारोह में शमिल होने के लिए पहले से ही भारत में हैं। 

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